लोकसभा चुनाव अभियानों में सपा नेता और रामपुर से प्रत्याशी आजम खान की गलतबयानी को लेकर निर्वाचन आयोग ने रिपोर्ट तलब की है. इस बीच, 72 घंटे की पाबंदी के बाद जनसभा को संबोधित करने पहुंचे आजम खान ने कहा कि उनकी तबीयत खराब है और जनसभा में खामोशी होगी उसके बाद ही वह बोल पाएंगे. जयाप्रदा के खिलाफ विदादित बयान देने की वजह से चुनाव आयोग ने आजम खान को 72 घंटे तक चुनावी रैली संबोधित करने से रोक दिया था.
आजम खान ने शुक्रवार को कहा, 'मेरी तबीयत खराब है. बहुत खामोशी होगी तो ही मैं बोल पाऊंगा. मैं तीन दिन की चुनाव आयोग की सजा के बाद, पाबंदी के बाद बोल रहा हूं. पार्लियामेंट के चुनाव में तीन दिन मुझे बोलने से रोक दिया, मिलने से रोक दिया, इस सजा का क्या करना है, ये आपको जानने का हक है.' उन्होंने कहा, 'मैं आपकी वकालत कर रहा हूं 40 सालों से. मैंने आपका (जनता) जज्बा देखा है. मेरे साथ आपकी ये चाहत किसी दौलत से नहीं मिल सकती है.'
आजम खान ने कहा, 'अगर बस चले तो ये सरकार मुझे गोलियों से छलनी कर दे. आज भी सभा को रोकने के लिए बहुत कोशिश होगी. हम कैसे जलील किए जाएंगे. आज सुबह 10 बजे पाबंदी हटी मुझसे. मैं मुरादाबाद गया था, लेकिन अपने निर्वाचन क्षेत्र के लोगों तक से नहीं मिल सका. मैं उन लोगों की मदद करना चाहता हूं जिन्हें प्रताड़ित किया जा रहा है. रामपुर में इंतेजामिया ने दहशत फैला दिया है. दरवाजे तोड़ दिए जा रहे हैं.'
सपा नेता ने कहा, 'मैं यह चुनाव नहीं लड़ना चाहता. आप लोगों क्यों मुझे इस चुनाव के तैयार किया. मेरे आंसू किसी डर के नहीं हैं. मेरे आंसू आपके प्यार और मोहब्बत के लिए हैं. मेरे पास कुछ नहीं है. मुझे पैसा नहीं चाहिए. मुझे शोहरत नहीं चाहिए. मैं इन सब चीजों का क्या करूंगा? 23 का इंतजार करें, अगर हम जिंदा रहे. लाशें रोती नहीं हैं. हम अपने हर आंसू का हिसाब लेंगे. इंशाल्लाह.'